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गंध पलाशी के फायदे | Benefits of Garland Flower in Hindi

गंध पलाशी के फायदे | Benefits of Garland Flower in Hindi
गंध पलाशी के फायदे | Benefits of Garland Flower in Hindi

गंध पलाशी (Garland Flower)

प्रचलित नाम कपूर कचरी, गंध पलाशी।

उपयोगी अंग- भूमिगत कांड (मूल स्तंभ) ।

परिचय- यह वनौषधि एक छोटा क्षुप है। इसकी जड़ें कंद प्रकार की होती हैं, जो भूमि में समतल बढ़ती रहती हैं। इसके पत्ते धरती से निकले हुए डंठल पर, एक फीट लंबे होते हैं। पुष्प सफेद एवं आकर्षक होते हैं। इसका मूल कंद सुगंधित होता है।

स्वाद- मीठा ।

उपयोगिता एवं औषधीय गुण

गंध पलाशी का पेड़ व फूल वाली), बाजीकरण, रक्तदाबहासी (निम्न रक्तचाप ठीक करने वाली), दीपन, वातानुलोमन, ग्राही ।

पूतिरोधि (श्वास अवरोध को सही करने रक्त शर्करा का असर कम करने में उपयोगी। शोथ, कास, सांस के रोग, वमन, शूल, व्रण में लाभदायक, दंतशूल, मूर्छा तथा श्वासनी विस्फारक। इसका कंद तीक्ष्ण, दाहक, कड़वा, शीतवीर्य, पित्तकर होता है। इसके सेवन से कास, बुखार, शूल गुल्म, रक्तरोग, वायु, त्रिदोष, अरुचि, दुर्गन्ध, व्रण, आँव और वमन का नाश होता है। इसका प्रयोग सभी प्रकार के वमन में लाभदायक है। इसको कपड़े में छानकर चूर्ण को खरल में डालकर पानी के साथ भली प्रकार घोंटकर चने के जैसी गोलियाँ बनाकर, छाया में सुखा लेनी चाहिए। प्रौढ़ों को 3-6 गोली तथा बच्चों को एक गोली पानी के साथ खिलानी चाहिए। अचानक ही घर में किसी को वमन, दस्त, आंव की शिकायत हो जाने पर इसका सेवन लाभदायक होता है। जरूरत पड़ने पर दो-दो घंटे बाद तीन से चार गोली देनी चाहिए।

मात्रा – 1-4 माशा।

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